कोरोनावायरस के लिए देशभर में बन रहे विशेष वार्ड


केंद्र सरकार (Central Government) ने नोवेल कोरोनावायरस के उपचार व संक्रमण की रोकथाम के लिए दिल्ली के अस्पतालों में खास वार्ड बनाए गए हैं। अब ऐसे ही वार्ड देश के अन्य राज्यों में भी बनाने के निर्देश दिए गए हैं। खासतौर पर उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, बिहार, पश्चिम बंगाल व सिक्किम में तुरंत प्रभाव से कोरोनावायरस के आइसोलेशन वार्ड तैयार किए जा रहे हैं।

नेशनल सेंटर फॉर डिजीजिज कंट्रोल (एनसीडीसी) के निदेशक सुजीत कुमार सिंह ने से कहा, भारत सरकार कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए हर संभव कोशिश कर रही है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने देश के सभी राज्यों को कोरोना वायरस से पहले निपटने के लिए आइसोलेशन वार्डस बनाने को कहा है।

सिंह ने कहा, नेपाल सीमा से सटे पांचों राज्यों- यूपी, उत्तराखंड, बिहार, पश्चिम बंगाल, और सिक्किम में भी कोरोनावायरस के लिए विशेष चिकित्सा कक्ष तैयार किए जा रहे हैं।

उन्होंने बताया, केंद्र सरकार ने सभी राज्य सरकारों को पत्र लिखकर कहा है कि सभी राज्य जल्द से जल्द अपने यहां कोरोनावायरस के लिए विशेष चिकित्सा कक्ष तैयार करें।

फिलहाल दिल्ली के राम मनोहर लोहिया अस्पताल में कोरोना वायरस के रोगियों को रखने के लिए विशेष वार्ड बनाए गए हैं। यह वार्ड इस तरह से बनाए गए हैं कि इनमें से किसी भी प्रकार का संक्रमण बाहर न जा सके। साथ ही रोगियों के उपचार में इस्तेमाल होने वाली वस्तुओं के निपटान के लिए भी विशेष व्यवस्था की गई है।

एनसीडीसी के निदेशक सुजीत सिंह ने राम मनोहर लोहिया अस्पताल में नोवेल कोरोना वायरस के लिए बनाए गए एकांत वार्ड का निरीक्षण कर चुके हैं।

नोवेल कोरोना वायरस के मुद्दे पर सोमवार को दिल्ली में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की एक अहम बैठक भी हुई थी, जिसमें नेपाल की सीमा से सटे पांचों राज्यों- पश्चिम बंगाल, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, बिहार और सिक्किम के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशकों के साथ केंद्र सरकार ने कोरोनावायरस से निपटने के उपायों पर चर्चा की।

इन पांचों राज्यों के मुख्य सचिव, पुलिस महानिदेशक और इन राज्यों के मुख्य सचिव वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए इस बैठक में शामिल हुए। मुख्य सचिवों से विशेष सावधानी बरतने को कहा गया है। राज्यों को कोरोना वायरस के संदिग्ध मरीजों को रखने के लिए अस्पतालों में एकांत वार्ड बनाने को कहा गया है।

भारत-नेपाल सीमा के फिलहाल 10 अलग-अलग प्रवेशद्वारों पर थर्मल स्क्रीनिंग की जा रही है। थर्मल स्क्रीन के जरिए स्वास्थ्य विभाग की टीम कोरोनावायरस को देश में आने से रोकने का प्रयास कर रही है। संदिग्ध मरीजों की तुरंत पहचान कर उनके खून व अन्य नमूने लेकर राज्यों में मौजूद स्वास्थ्य मंत्रालय की टीमों को भेजने के निर्देश दिए गए हैं। नमूनों की जांच पुणे स्थित स्वास्थ्य मंत्रालय की लैब को भेजे जाएंगे।

मंत्रालय की ओर से उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, बिहार और सिक्किम पुलिस महानिदेशकों को निर्देश दिए गए हैं कि नेपाल से आने वाले किसी भी व्यक्ति को बिना स्क्रीनिंग के भारत में दाखिल न होने दिया जाए।

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