लखनऊ विश्वविद्यालय ने मंगलवार को चंद्रयान -2 मिशन की निदेशक रितु करिधाल श्रीवास्तव को ‘मानद उपाधि’ से सम्मानित किया गया. एक कार्यक्रम में राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने रितु करिधाल को मानद उपाधि देकर किया सम्मानित किया. रितु ने विश्वविद्यालय में ही अपनी शिक्षा ग्रहण की थी. “रितु ने 1997 में स्नातकोत्तर की पढ़ाई पूरी की और भौतिक विज्ञान विभाग में डॉक्टरेट के लिए दाखिला लिया था. उन्होंने बाद में उसी विभाग में शिक्षण भी किया. रितु करिधाल ने भारत के दूसरे चंद्र मिशन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाकर अपने विश्वविद्यालय और पूरे देश को गौरवान्वित किया है.
बता दें कि रितु लखनऊ में राजाजीपुरम की रहने वाली हैं. इससे पहले ISRO की सीनियर साइंटिस्ट रितु के भाई रोहित ने बताया था कि हमें नाज है अपनी बहन पर. लेकिन इसके पीछे सैकड़ों वैज्ञानिकों की टीम की मेहनत भी है. रितु करिधाल के माता-पिता का निधन हो चुका है. रितु के दो बच्चे भी हैं जिनका वह अच्छी तरह ध्यान रखती हैं.
रोहित कहते हैं कि रितु ने लखनऊ विश्वविद्यालय से फिजिक्स में ग्रेजुएशन किया. वहीं गेट पास करने के बाद मास्टर्स डिग्री के लिए इंडियन इंस्टीट्यूट आफ साइंसेज ज्वाइन किया. यहां से एयरोस्पेस इंजीनियरिंग में डिग्री ली. उन्होंने बताया कि रितु साल 1997 से ISRO से जुड़ी. इससे पहले वो मंगलयान में डिप्टी ऑपरेशन डायरेक्टर रहीं और अब चंद्रयान-2 में मिशन डायरेक्टर हैं.