पटना में जलजमाव के खिलाफ प्रदर्शन, अब डेंगू ने पसारे पांव


बिहार की राजधानी पटना में अभी भी कई क्षेत्रों में जलजमाव की स्थिति बनी हुई है। इस बीच लोग सड़कों पर उतरकर सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने लगे हैं। इसी कड़ी में रविवार को जलजमाव पीड़ितों ने उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी के निजी आवास का घेराव किया और जमकर प्रदर्शन किया। इस बीच जलजमाव वाले क्षेत्रों के अलावा पटना में डेंगू ने भी पांव पसारने प्रारंभ कर दिए हैं। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, राज्य में अब तक 1,500 से ज्यादा डेंगू के मरीजों की पहचान की गई है।

पटना में जलजमाव वाले क्षेत्रों के लोगों का गुस्सा अब फूटने लगा है। राज्य के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी के राजेंद्र नगर स्थित पुश्तैनी मकान के सामने रविवार को मुहल्ले के लोगों ने जमकर हंगामा किया और सरकार के विरोध में नारेबाजी की। इस दौरान उपमुख्यमंत्री अपने घर में बंद रहे। लोगों का आरोप है कि जब राजेंद्र नगर डूब रहा था तब उपमुख्यमंत्री खुद निकल गए और जनता को उनके हाल पर छोड़ दिया। ये लोग सरकार की बदइंतजामी से भी नाराज नजर आए।

उल्लेखनीय है कि क्षेत्र में जलजमाव के बाद उपमुख्यमंत्री भी इसी घर में तीन दिनों तक फंसे रहे थे, बाद में एनडीआरएफ की टीम ने उन्हें और उनके परिवार को बचाया था।

इसके अलावा जल निकासी आपदा पीड़ित मंच के लोगों ने पटना नगर निगम के बंकीपुर अंचल का भी घेराव किया। इससे पहले पांच अक्टूबर को दानापुर के लोगों ने मुहल्ले से पानी की निकासी न होने को लेकर गोला रोड टी पॉइंट के पास सड़क पर जमकर हंगामा किया था।

इस बीच पटना सहित राज्य के कई इलाकों में डेंगू पांव पसारता जा रहा है। लोगों का आरोप है कि डेंगू प्रभावित इलाकों में पर्याप्त फागिंग नहीं हो रही है तथा जलजमाव वाले क्षेत्रों में पर्याप्त मात्रा में ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव नहीं हो रहा है।

बिहार स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी ने सोमवार को आईएएनएस को बताया कि डेंगू के मरीजों की संख्या रविवार तक 1579 हो गई है, जिसमें पटना में सर्वाधिक 1135 डेंगू के मरीज पाए गए हैं, जबकि भागलपुर में 112 डेंगू के मरीज पाए गए हैं।

स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार ने कहा कि डेंगू से डरने की कोई जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा कि सभी बुखार डेंगू नहीं हैं। उन्होंने दावा किया कि सरकार लगातार डेंगू से निपटने के लिए काम कर रही है।

विभाग के एक अन्य अधिकारी के अनुसार, पटना में स्वास्थ्य शिविर लगाकर लोगों को इलाज मुहैया कराया जा रहा है। इन शिविरों में 26 हजार से ज्यादा मरीजों का अब तक इलाज हो चुका है। पटना में 26 शिविरों का संचालन किया गया है।

उल्लेखनीय है कि सितंबर के अंतिम दिनों में अत्यधिक बारिश होने के बाद राजधानी के कई क्षेत्रों में जलजमाव की स्थिति बन गई थी। इसमें राजेंद्र नगर और कंकड़बाग के लोग एक सप्ताह से ज्यादा दिनों में जलजमाव के कारण घर से बाहर नहीं निकल पा रहे थे।

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